Noida News : एमिटी विवि. में अंतरिक्ष अनुसंधान में भविष्य की दिशा पर लीडरशिप टॉक का आयोजन
Noida News : सेक्टर-125 स्थित एमिटी विश्वविद्यालय के एमिटी इंस्टीटयूट ऑफ स्पेस साइंस एंड टेक्नोलॉजी द्वारा राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस के उपलक्ष में अंतरिक्ष अनुसंधान में भविष्य की दिशा पर लीडरशिप टॉक का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मिसाइल एंड स्ट्रैटजिक सिस्टम के महानिदेशक डा. यू राजा बाबू, इंडियन स्पेस एसोसिएशन (आईएसपीए) के निदेशक विंग कमांडर सत्यम कुशवाहा, डीआरडीओ के टीडीएफ के एडिशनल डायरेक्टर अर्जुन कुमार, डीएसओ के गु्रप कैप्टन विष्णु वाजपेयी और जॉनेट टेक्नोलॉजीस के सीईओ जॉन लिविंगस्टोन ने अपने विचार रखे।
लीडरशिप टॉक में डा. यू राजा बाबू ने कहा कि मानव मन में सदैव अंतरिक्ष को लेकर उत्सुकता और जिज्ञासा बनी रही है। हम आसमान की तरफ देखते हैं और तारों के विश्व में नई संभावनाओं को तलाशते हैं। उन्होंने कहा कि अंतरिक्ष में बढ़ते कदमों ने हमारी जानकारी को बढ़ाया है। उन्होंने कहा कि हमने अन्य ग्रहों के वातावरण और गैलेक्सी को भी समझा है। उन्होंने कहा कि वर्तमान युग अंतरिक्ष का युग है और सैटेलाइट लगभग हर क्षेत्र में पर्यावरण, नैविगेशन, सुरक्षा और डिफेंस आदि में सहायक हो रही है। कई देश ना केवल सुरक्षा हेतु बल्कि युद्ध में सैटेलाइट का उपयोग कर रहे है जिसका उदाहरण रशिया और युक्रेन का युद्ध है। आज अंतरिक्ष अनुसंधान सबसे महत्वपूर्ण विषयों में है जिसमें युवाओं की रूचि बढ़ रही है और सबसे अधिक शोधकर्ता अकादमिक क्षेत्र से आ रहे है, अनुसंधान के लिए सरकार और निजी क्षेत्रों द्वारा सहायता प्रदान की जा रही है।
विंग कमांडर सत्यम कुशवाहा ने कहा कि इंडियन स्पेस एसोसिएशन (आईएसपीए) को भारत में निजी अंतरिक्ष उद्योग के सफल सहयोगात्मक विकास के लिए स्थापित किया गया है। अर्जुन कुमार ने कहा कि किसी भी अनुसंधान, प्रोजेक्ट के लिए वित्त सहायता एक महत्वपूर्ण आधार होता है। देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए रक्षा प्रौद्योगिकी को बढ़ावा देने के लिए टेक्नोलॉजी डेवलपमेंट फंड की स्थापना की गई है।
डा. एमएस प्रसाद ने कहा कि एमिटी, इसरो व अन्य सरकारी एंजेसियों द्वारा संचालित किये जा अंतरिक्ष अनुसंधान के क्षेत्र में कार्य करके राष्ट्र निर्माण में सहयोग दे रहा है। आज चंद्रमा में रॉकेट का लैंड करना और अंतरिक्ष में एक उपलब्धि पृथ्वी पर लोगों के जीवन को प्रभावित कर रहा है। इस अवसर पर एमिटी इंस्टीटयूट ऑफ स्पेस साइंस एंड टेक्नोलॉजी के निदेशक डा. एमएस प्रसाद, इंजिनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी के डिप्टी डीन डा. केएम सोनी, कैप्टन विष्णु वाजपेयी, जॉनेट टेक्नोलॉजीस के सीईओ जॉन लिविंगस्टोन, डा शिवानी वर्मा ने अपने विचार व्यक्त किए।